Murder In Mahakumbh – दिल्ली का रहने वाला एक शख्स अशोक वाल्मीकि 17 फरवरी को अपनी पत्नी मीनाक्षी के साथ महाकुंभ में स्नान करने के लिए गया। दोनों पति-पत्नी बहुत खुश थे। महाकुंभ पहुंचने के बाद दोनों ने ना सिर्फ साथ में गंगा यमुना सरस्वती के संगम में डुबकी लगाई, बल्कि संगम के डुबकी लगाने के बाद अशोक ने अपनी एक सेल्फी भी सोशल मीडिया में अपलोड की। सबकुछ ठीक चल रहा था। लेकिन तीन गुजरते गुजरते इस कहानी में एक ट्विस्ट आ गया। (Murder In Mahakumbh)
आज के ज़माने में कोई मेले में कैसे खो सकता है?
अशोक की पत्नी मीनाक्षी महाकुंभ मेले के भीड़ में ही कहीं खो गई। हालांकि आज के जमाने में जब हर किसी पास मोबाइल फोन है और लोग एक दूसरे से चौबीसों घंटे कनेक्टेड रहते हैं, वैसे में किसी आदमी का खो जाना अजीब लग रहा था। निराश अशोक दिल्ली लौट आया और उसने अपने घर वालों को मीनाक्षी की गुमशुदगी की कहानी सुनाई। अशोक तो घर लौट आया, लेकिन उनका बेटा अश्विन कहां हार मानने वाला था। सवाल उसकी मां का था। वो फौरन दिल्ली से प्रयागराज अपनी मां को ढूंढने निकल पड़ा।
बेटे अश्विन को पुलिस ने दिखाई मां की लाश
बेटा अश्विन प्रयागराज पहुंचने के बाद सबसे पहले प्रयागराज रेलवे पुलिस स्टेशन गया। वहां उसने पुलिस वालों को अपनी मां की तस्वीर दिखाई। लेकिन तस्वीर दिखाते ही अश्विन को बड़ा सदमा लगा। पुलिस वालों ने उसे बताया कि दो दिन पहले ही शहर के झूंसी इलाके में एक महिला का क़त्ल हुआ है और उसकी मां की तस्वीर उस महिला से मिलती है। ऐसे में उसे झूंसी जाना चाहिए। अश्विन अब झूंसी पहुंचा। वहां थाने को उसने अपनी मां की तस्वीर दिखाई और थाने उसे सीधे सरकारी अस्पताल के मुर्दाघर में ले कर गया, जहां उस महिला की लाश रखी थी।

शक ना हो इसलिए क़त्ल के बाद फिर लौटा प्रयागराज
अश्विन ने जैसे ही महिला की लाश देखी, वो दहाड़े मार कर रोने लगा। ये उसकी मां मीनाक्षी की ही लाश थी। किसी दरिंदे ने मीनाक्षी का गला बहुत बेरहमी से काट डाला था। अब खबर मीनाक्षी से बदनसीब पति यानी अश्विन के पिता अशोक को मिल चुकी थी। अशोक भागा-भागा दिल्ली से फिर प्रयागराज पहुंचा। लेकिन प्रयागराज पहुंचते ही कहानी पूरी तरह पलट गई। पुलिस को मीनाक्षी के पति अशोक पर पहले ही शक हो गया था। इसलिए जैसे ही अशोक प्रयागराज आया, पुलिस ने उसे गिरफ्तार कर लिया।
पोल खुलने पर अशोक ने क़बूल किया जुर्म
सख्ती से पूछताछ करने पर अशोक ने जो कहानी सुनाई, वो रौंगटे खड़े करने वाली थी। अशोक ने बताया कि वो अपनी पत्नी का कत्ल करने के इरादे से ही उसे महाकुंभ में लेकर आया था। प्रयागराज आने के बाद वो रात करीब 9 बजे झूंसी इलाके में किसी लॉज की तलाश में था। चूंकि उसे कत्ल करना था,तो उसके दिमाग में चल रहा था कि वो किसी ऐसे लॉज में ठहरेगा, जिसमें आईडी न मांगी जाए। उसे झूंसी में एक शख्स मिला, जिसने उसे लॉज की पेशकश की। मगर अशोक ने कहा कि वो पत्नी पत्नी हैं और कुछ घंटे आराम करना चाहते हैं। उनके पास कोई आईडी नहीं है।
लॉज वाले की एक ग़लती से हुआ क़त्ल
लॉज वाला बगैर आईडी लिए अशोक और मीनाक्षी को कमरा देने के लिए राजी हो गया। और यहीं मीनाक्षी के कत्ल का रास्ता खुल गया। अशोक ने आधी रात मीनाक्षी का गला काट कर कमरे के बाथरूम में उसकी हत्या कर दी। वो अपने साथ दिल्ली से ही एक बड़ा चाकू लेकर आया था। कत्ल के बाद उसने चाकू फिर से अपने बैग में रखा और लॉज में बिना किसी को बताए दिल्ली पहुंच गया। दिल्ली पहुंच कर उसने मीनाक्षी के गुम हो जाने की झूठी कहानी सुनाई।
बेटे ने खोला मां के क़त्ल का राज़
इधर, अगले दिन लॉज वालों को कमरे में महिला की लाश मिली। बात पुलिस तक पहुंची। पुलिस लॉज और उसके आस-पास की सीसीटीवी फुटेज भी निकलवाए। प्रयागराज पुलिस अभी जांच कर ही रही थी कि दिल्ली से अशोक का बेटा अश्विन अपनी मां को ढूंढता हुआ प्रयागराज पहुंचा और प्रयागराज आते ही पूरी कहानी का खुलासा हो गया। लेकिन अब सवाल ये था कि आखिर अशोक ने अपनी पत्नी मीनाक्षी की जान क्यों ली? तो दिल्ली नगर निगम के कर्मचारी अशोक ने पूछताछ में उसकी वजह भी बताई।
तो ये रही महाकुंभ में क़त्ल की वजह
दरअसल, अशोक का किसी और लड़की से अफेयर हो गया था। मीनाक्षी को इसकी खबर मिल गई थी और वो इसका विरोध करती थी। बस इसी वजह से वो अपनी पत्नी को रास्ते से हटाना चाहता था। उसने क़त्ल की इतनी खतरनाक साज़िश रची। उसने सोचा कि महाकुंभ में करोड़ों लोगों की भीड़ है। वहां वो किसी का क़त्ल करेगा, तो भला पुलिस उसे कहां पकड़ पाएगी? लेकिन उसकी सोच गलत साबित हुई।
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